Dark Mode
  • day 00 month 0000
Shukra Pradosh Vrat 2024 Date: दिसंबर 2024 में प्रदोष व्रत कब? बन रहे ये 3 शुभ योग

Shukra Pradosh Vrat 2024 Date: दिसंबर 2024 में प्रदोष व्रत कब? बन रहे ये 3 शुभ योग

Shukra Pradosh Vrat 2024 Shubh Muhurta: हिंदू पंचांग के मुताबिक प्रत्येक वर्ष मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को शुक्र प्रदोष व्रत मनाया जाता है। इस दिन भगवान शिव की पूजा का विधान है। कहते हैं कि इस दिन भोलेनाथ की आराधना करने से जीवन के सभी कष्ट दूर हो जाते हैं और जातक वैभवशाली जीवन जीता है। इस दिन श्रद्धा भाव और विधि-विधान से पूजा पाठ करने से घर में सुख-शांति आती है और मन और विचार में सकारात्मकता का संचार होता है। इस दिन उपवास रखना और ज़रूरतमंदों की मदद करने से बाबा भोलेनाथ और मां पर्वती का आशीर्वाद प्राप्त होता है। वहीं, मान्यतानुसार अगर साधक शुक्र प्रदोष तिथि (Shukr pradosh vrat 2024) के दिन दान-पुण्य अपनी राशि के अनुसार करे, तो इस व्रत का फल दोगुना हो सकता है।

 

शुक्र प्रदोष व्रत तिथि 2024
ज्योतिष शास्त्रियों के अनुसार, इस वर्ष मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी 12 दिसंबर को रात 10.26 बजे शुरू हो जाएगी। इस तिथि का समापन 13 दिसंबर को शाम 7.40 बजे होगा. उदयातिथि के आधार पर इस बार शुक्र प्रदोष व्रत 13 दिसंबर को रखा जाएगा।

 

ये भी पढ़ेंजानें कौन हैं मां अन्नपूर्णा ? भगवान शिव के साथ काशी में करती हैं निवास, यहीं है दुनिया का अनोखा मंदिर 

 

शुक्र प्रदोष व्रत 2024 पूजा मुहूर्त
धार्मिक विद्वानों के मुताबिक इस बार शुक्र प्रदोष व्रत के लिए अभिजीत मुहूर्त 13 दिसंबर को सुबह 11.55 बजे से दोपहर 12.36 बजे तक रहने वाला है। वहीं पूजा का शुभ मुहूर्त 13 दिसंबर को शाम 5.26 बजे से शुरू होकर शाम 7.40 बजे तक रहेगा। इस मतलब ये है कि जातकों को भोलेनाथ की पूजा के लिए इस बार करीब सवा 2 घंटे का वक्त मिलने जा रहा है।

 

शुक्र प्रदोष व्रत 2024 पर शुभ योग
ज्योतिष आचार्यों के अनुसार, इस बार शुक्र प्रदोष व्रत 2024 पर 3 शुभ योग भी बन रहे हैं। इस दिन सुबह 7.50 बजे से रवि योग शुरू होगा, जो 14 दिसंबर को सुबह 5.48 बजे तक रहेगा। रवि योग बनने से सूर्य का प्रभाव बढ़ जाता है, जिससे कुंडली में लगे सारे दोष दूर हो जाते हैं। इसके साथ ही ही उस दिन शिव योग और सिद्ध योग भी बन रहे हैं, जो जातकों को भरपूर फल देंगे।

 

शुक्र प्रदोष व्रत का क्या है महत्व?
पंडितों के मुताबिक, जो प्रदोष व्रत शुक्रवार के दिन आता है, शुक्र प्रदोष व्रत कहते हैं। कहते हैं कि इस दिन जो जातक सच्चे मन से भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा करते हैं, उन्हें इसका प्रतिफल जरूर मिलता है। ऐसे जातक जीवन भर सुख भोगते हैं और मृत्यु के उपरांत मोक्ष को प्राप्त करते हैं। इसलिए शुक्र प्रदोष व्रत पर पूजा का विशेष महत्व माना जाता है। इस दिन जरूरतमंदों को दान भी देना चाहिए।

Comment / Reply From

Vote / Poll

क्या राजस्थान मे बेरोजगारी का मुद्दा खत्म हो चुका है ..

View Results
Yes
11%
No
89%

Talk to us?