Retail Inflation : भारत की खुदरा महंगाई दर में बढ़ोत्तरी, भारतीय रिजर्व बैंक की सीमा से भी बाहर
- Renuka
- November 13, 2024
Retail Inflation : अक्टूबर 2024 में भारत की खुदरा महंगाई (retail inflation) दर सालाना आधार पर बढ़कर 6.21 प्रतिशत हो गई है। जो सितंबर 2024 के 5.49 प्रतिशत के मुकाबले अधिक है और पिछले 9 महीनों का सबसे ऊंचा स्तर है। महंगाई में इस बढ़ोतरी का मुख्य कारण खाद्य पदार्थों (food prices) की कीमतों में वृद्धि है। आपको बता दें कि अक्टूबर में महंगाई दर ने 14 महीनों में पहली बार, यानी अगस्त 2023 के बाद से भारतीय रिजर्व बैंक (Reserve Bank of India) द्वारा निर्धारित 6 प्रतिशत की सहनीय सीमा को पार किया है।
सरकारी आंकड़ों के अनुसार मुद्रास्फीति
मंगलवार को जारी की गई सरकारी आंकड़ों (government data) के मुताबिक अक्टूबर में खुदरा मुद्रास्फीति (retail inflation) 6.21 प्रतिशत तक पहुँच गई है। जबकि इससे पहले सितंबर में यह 5.49 प्रतिशत थी। खाद्य वस्तुओं की कीमतों में तेजी के कारण मुद्रास्फीति में यह बढ़ोतरी हुई है। इस वृद्धि के साथ ही महंगाई दर भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के निर्धारित टॉलरेंस बैंड के ऊपरी स्तर से ऊपर चली गई। बता दें कि यह आंकड़ा (data) 14 महीने बाद सामने आया है और RBI की कोशिश हमेशा रहती है कि महंगाई दर (inflation rate) 6% के नीचे रहे। लेकिन इस बार के आंकड़ों (data) ने इस सीमा को पार कर लिया है।
पदार्थों की कीमत में वृध्दि
इसके अलावा खाद्य महंगाई (retail inflation) में विशेष रूप से बढ़ोतरी देखी गई है। अक्टूबर में खाद्य महंगाई 9.69 प्रतिशत तक पहुँच गई, जबकि सितंबर में यह 9.24 प्रतिशत थी। यह बढ़ोतरी मुख्य रूप से सब्जियों और खाद्य तेलों (vegetables and edible oils) की कीमतों में उछाल के कारण हुई है। ग्रामीण इलाकों में मुद्रास्फीति 5.87 प्रतिशत से बढ़कर 6.68 प्रतिशत हो गई, जबकि शहरी क्षेत्रों में भी यह 5.05 प्रतिशत से बढ़कर 5.62 प्रतिशत हो गई। इन आंकड़ों (data) से यह स्पष्ट है कि- महंगाई का दबाव दोनों ही ग्रामीण और शहरी इलाकों में बढ़ा है, जिससे आम आदमी की जीवनशैली पर असर पड़ रहा है। सब्जियों की कीमतों में तेज़ वृद्धि के कारण महंगाई दर में खासा इजाफा हुआ है। अक्टूबर में सब्जियों की महंगाई दर 42.18 प्रतिशत रही, जबकि सितंबर में यह 35.99 प्रतिशत थी। दूध और दूध से जुड़े उत्पादों की महंगाई दर 2.97 प्रतिशत दर्ज की गई। वहीं दालों की महंगाई दर में थोड़ी कमी आई है, जो सितंबर के 9.81 प्रतिशत से घटकर अक्टूबर में 7.43 प्रतिशत हो गई।
औद्योगिक उत्पादन सूचकांक के मोर्चे पर राहत
सितंबर 2023 में भारत के औद्योगिक उत्पादन (India industrial production) में 3.1 प्रतिशत की वृद्धि हुई। जिसका मुख्य कारण मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में सुधार था। औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (Index of Industrial Production) के तहत मापे जाने वाले कारखाना उत्पादन में सितंबर में 6.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई, जबकि अगस्त 2024 में यह नकारात्मक रहा था। इसी प्रकार सितंबर में एक सकारात्मक बदलाव देखा गया, जो अगस्त के मुकाबले सुधार को दर्शाता है। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (National Statistical Office) द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार सितंबर 2024 में खनन, विनिर्माण और बिजली क्षेत्र में वृद्धि 0.2 प्रतिशत, 3.9 प्रतिशत और 0.5 प्रतिशत रही है।
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