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राजस्थान में फिर भड़का गुर्जर आंदोलन, ट्रेन रोकी

राजस्थान में फिर भड़का गुर्जर आंदोलन, ट्रेन रोकी

राजस्थान में फिर सुलगी गुर्जर आंदोलन की आग: महापंचायत के बाद ट्रेन रोकी, पटरी पर उतरे हजारों युवा

 

राजस्थान में एक बार फिर गुर्जर आरक्षण आंदोलन की चिंगारी भड़क उठी है। भरतपुर के पीलूपुरा स्थित शहीद स्मारक कारवारी में रविवार को हुई गुर्जर महापंचायत के बाद युवाओं ने कोटा-मथुरा पैसेंजर ट्रेन को रोक दिया और रेलवे ट्रैक पर बैठकर नारेबाजी करने लगे। यह प्रदर्शन उस समय शुरू हुआ, जब महापंचायत में सरकार द्वारा प्रस्तुत सात सूत्रीय प्रस्ताव पर सहमति बनने के बाद आंदोलन स्थगित करने की घोषणा की गई। लेकिन युवाओं को यह फैसला स्वीकार नहीं हुआ।

 

सरकार से नाराज़गी, युवाओं का विरोध प्रदर्शन


महापंचायत के दौरान गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति के अध्यक्ष विजय बैंसला ने सरकार की ओर से भेजे गए प्रस्ताव को पढ़ा और बताया कि राज्य सरकार 5% आरक्षण का प्रस्ताव केंद्र को भेजेगी। इसके बाद आंदोलन समाप्त करने की घोषणा की गई। लेकिन कई युवा इस निर्णय से नाराज़ दिखे। आंदोलनकारी युवाओं ने कहा कि वे तब तक रेलवे ट्रैक खाली नहीं करेंगे जब तक सरकार आरक्षण की मांगों को पूरी तरह लागू नहीं करती।

इस विरोध प्रदर्शन में बड़ी संख्या में लोग ट्रैक पर इकट्ठे हो गए। उन्होंने ट्रेनों की आवाजाही रोक दी, जिससे यात्रियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। कई ट्रेनों को बीच रास्ते में रोकना पड़ा और यात्रियों को पानी व भोजन की किल्लत झेलनी पड़ी।

 

गुर्जर पंच-पटेल कर रहे हैं समझाइश, प्रशासन सतर्क

 

गुर्जर समाज के वरिष्ठ पंच-पटेल नाराज़ युवाओं को समझाने का प्रयास कर रहे हैं, लेकिन युवाओं का कहना है कि "अबकी बार सिर्फ भरोसे से नहीं, ठोस कार्रवाई से बात बनेगी।" मौके पर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है और प्रशासन स्थिति पर नजर बनाए हुए है।

 

सरकार के साथ पुराना समझौता अधूरा

 

विजय बैंसला ने कहा कि पूर्व में भाजपा सरकार के साथ हुए समझौते पर अब तक अमल नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि REET 2018 और 2021 के आरक्षित पदों पर अब तक नियुक्तियां नहीं हुई हैं और आरक्षण आंदोलन के दौरान दर्ज हुए मुकदमे भी वापस नहीं लिए गए। उन्होंने सरकार पर मूकदर्शक बनने का आरोप लगाते हुए कहा कि समाज अब और इंतजार नहीं करेगा।

 

हाईवे जाम की भी चेतावनी

 

महापंचायत में उपस्थित लोगों ने संघर्ष समिति के अध्यक्ष के आदेशों की पालना करने की बात कही है। अगर आवश्यक हुआ, तो रेलवे ट्रैक के साथ-साथ हिंडोन-बयाना स्टेट हाईवे को भी जाम किया जाएगा। पूर्व सरपंच श्रीराम गुर्जर ने बताया कि इस आंदोलन में यूपी, एमपी, दिल्ली, और जम्मू-कश्मीर से भी गुर्जर समाज के लोग भाग ले रहे हैं।

 

सरकार बातचीत को तैयार, फिर आंदोलन क्यों? - बेढम

 

गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढम ने सवाल उठाया कि जब सरकार बातचीत को तैयार है, तो फिर आंदोलन की आवश्यकता क्यों पड़ी? उन्होंने कहा कि विजय बैंसला स्वयं भाजपा से जुड़े हैं और पार्टी की बैठकों में भाग लेते रहे हैं। उन्होंने सभी पक्षों से शांतिपूर्वक समाधान की अपील की।


गुर्जर समाज की नाराज़गी एक बार फिर सड़क और पटरियों पर उतर आई है। सरकार के साथ पुराने समझौतों को लेकर विश्वास की कमी, और आरक्षण की मांग को लेकर अधूरे आश्वासनों ने युवाओं में आक्रोश भर दिया है। यह देखना दिलचस्प होगा कि सरकार इस बार आंदोलन को कैसे सुलझाती है — बातचीत से या फिर बल प्रयोग से।

 

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