
High Court: कोर्ट ने दी दिल्ली यूनिवर्सिटी छात्र संघ चुनाव के नतीजे घोषित करने की अनुमति
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Renuka
- November 12, 2024
DUSU Election Result Update: दिल्ली यूनिवर्सिटी छात्र संघ (DUSU) चुनाव (elections) के नतीजों को लेकर दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) ने एक बड़ा फैसला सुनाया है। जिसमें कोर्ट ने डीयू प्रशासन (DU administration) को निर्देश दिए और कहा कि- वे यदि विश्वविद्यालय परिसर और उसके आसपास की सार्वजनिक संपत्तियों की सफाई से संतुष्ट होते हैं, तो चुनावों की मतगणना शुरू कर दी जाए।
कोर्ट ने दिया आदेश
हाई कोर्ट (High Court) ने 26 नवंबर तक या उससे पहले मतगणना की प्रक्रिया शुरू करने का आदेश दिया है। मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि- एक हफ्ते के भीतर सार्वजनिक संपत्तियों (public properties) की सफाई और पेंटिंग पूरी की जाए। साथ ही कोर्ट (Court) ने यह भी स्पष्ट किया है कि- छात्र संघ चुनाव लड़ रहे मौजूदा और भविष्य के उम्मीदवारों की जिम्मेदारी है कि वे विश्वविद्यालय की संरचना को साफ और बेहतर बनाए रखें, इसके साथ ही विश्वविद्यालय इस बात से संतुष्ट हो कि चुनाव प्रचार के दौरान जिन सार्वजनिक और निजी संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया गया । इसके अलावा अदालत ने दिल्ली विश्वविद्यालय और संबंधित छात्रों को 10 दिनों के भीतर उच्च न्यायालय की रजिस्ट्री में एक रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया है। जिसमें यह पुष्टि की गई हो कि अदालत के निर्देशों के अनुसार सार्वजनिक संपत्तियों की बहाली पूरी हो चुकी है। यह निर्णय प्रशांत मनचंदा द्वारा दायर की गई याचिका पर सुनवाई के बाद आया। जिसमें उन्होंने चुनाव के दौरान संपत्तियों को हुए नुकसान पर अपनी चिंता व्यक्त की थी।
इस बार कितनी हुई वोटिंग
दिल्ली यूनिवर्सिटी छात्र संघ (DUSU) चुनाव के मतदान 27 सितंबर को आयोजित किए गए थे। इस बार नए अध्यक्ष (president), उपाध्यक्ष, सचिव और संयुक्त सचिव के पदों के लिए कुल वोटिंग प्रतिशत (voting percentage) करीब 35.21% रहा। कुल 1 लाख 46 हजार मतदाताओं में से सिर्फ 51,400 ने वोट डाले । वोटिंग दो शिफ्टों में हुई थी। मॉर्निंग शिफ्ट में 1 लाख 23 हजार 500 छात्रों में से 44 हजार 300 ने वोट डाले, जिसका प्रतिशत 34.46% रहा। वहीं, इवनिंग शिफ्ट में 17,386 छात्रों में से 7,087 ने मतदान किया, जो कि 40.76% था। चुनाव परिणाम (results) 28 सितंबर को घोषित होने थे।

कोर्ट ने किए यूनिवर्सिटी प्रशासन से सवाल
दिल्ली हाई कोर्ट (High Court) की सुनवाई के दौरान न्यायालय ने दिल्ली यूनिवर्सिटी प्रशासन को उसकी जिम्मेदारियों से गंभीरता से अवगत कराया है । और पूछा कि उन्होंने उन छात्रों के खिलाफ क्यों कोई कार्रवाई नहीं की जिन्होंने विश्वविद्यालय की दीवारों पर स्प्रेपेंट किया। कोर्ट ने सीधे तौर पर विश्वविद्यालय के वकील से सवाल किया कि- क्या आपके पास कोई अधिकार नहीं है? क्या आप शक्तिहीन हैं? इसके अलावा कोर्ट ने यह भी सवाल उठाया कि- ऐसे छात्रों को दिल्ली यूनिवर्सिटी में पढ़ने की अनुमति दी जानी चाहिए या नहीं, जब उन्हें यह समझ नहीं आता कि उनकी इन हरकतों से आने वाली पीढ़ी को नुकसान हो सकता है। कोर्ट ने यह भी कहा कि- विश्वविद्यालय को इस तरह के मामलों में कड़ा कदम उठाना चाहिए, ताकि छात्रों में जिम्मेदारी का अहसास हो और वे विश्वविद्यालय की संपत्ति का सम्मान करें।
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