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Karva Chauth 2024 : महिलाओं में करवाचौथ को लेकर दिखा उत्साह, बाजारों में खरीदारी के लिए उमड़ी भीड़

Karva Chauth 2024 : महिलाओं में करवाचौथ को लेकर दिखा उत्साह, बाजारों में खरीदारी के लिए उमड़ी भीड़

 

Karva Chauth 2024 : करवा चौथ का त्योहार सुहागिन महिलाओं के लिए एक महत्वपूर्ण दिन होता है। करवाचौथ की तैयारियों को लेकर हर महिला में खासा उत्साह है। शहर के हर ब्यूटी पार्लर पर महिलाओं को भीड़ के कारण काफी इंतजार करना पड़ रहा है। वहीं स्वीट शॉप्स, कपड़े और मनियारी की दुकानों में शॉपिंग करने वाली महिलाओं की भीड़ लगी हुई है, मेहंदी सजाने वाले भी दोनों हाथों से चांदी कूट रहे हैं।


इस साल करवा चौथ का पर्व 20 अक्टूबर को मनाया जाएगा, और इस खास दिन के लिए तैयारियां धूमधाम से चल रही हैं। महिलाएं इस दिन अपने पति की लंबी उम्र और सुख-समृद्धि के लिए व्रत रखती हैं। बाजारों में चांद की पूजा के लिए सजावट, श्रृंगार और विभिन्न सामग्रियों की खरीदारी जोरों पर है। साथ ही, खास पहनावे और आभूषणों की तैयारी भी की जा रही है। मेहंदी की दुकानों से लेकर पारंपरिक साज-सज्जा का सामान खरीदने के लिए महिलाएं उमड़ रही हैं। करवा चौथ पर महिलाएं दिनभर निर्जला व्रत रखती हैं और शाम को चंद्रमा को अर्घ्य देने के बाद पति के हाथ से पानी पीकर व्रत खोलती हैं। इस दिन सोलह श्रृंगार का विशेष महत्व है, जिसमें सुहागिनें लाल-गुलाबी परिधान, मेहंदी, चूड़ियां, बिंदी और सिंदूर का उपयोग करती हैं।

 

बाजारों में छाई रौनक
त्योहार से पहले बाजार में रौनक छाई है। हर तरफ खुशियों का माहौल है, दुकानों में रंग-बिरंगी सजावट और सामान से भर गई हैं। लोग खरीदारी में व्यस्त हैं, चाहे वह परिधान हो, सजावट के सामान, मिठाइयां या पूजा की सामग्री। करवे (मिट्टी के बर्तन) और छलनी की भी अच्छी मांग है, जो इस पर्व की पूजा में जरूरी होते हैं। करवा चौथ की परंपरा प्राचीन काल से चली आ रही है। यह पर्व विशेष रूप से हिंदू महिलाओं द्वारा मनाया जाता है, जो अपने पतियों की लंबी उम्र और सुख-समृद्धि के लिए उपवास रखती हैं। मान्यता है कि इस व्रत से पति-पत्नी के रिश्ते मजबूत होते हैं और सुख-समृद्धि का आशीर्वाद मिलता है। आधुनिक समय में भी इस परंपरा को निभाने में महिलाओं का उत्साह कम नहीं हुआ है।

 

करवा चौथ का त्योहार केवल व्रत तक ही सीमित नहीं है, बल्कि यह सजने-संवरने और रिश्तों को संजोने का भी एक खास मौका है। इस दिन महिलाएं पारंपरिक परिधान पहनती हैं, अपनी खूबसूरती में चार चांद लगाने के लिए मेहंदी लगवाती हैं और विशेष आभूषण पहनती हैं। दुकानदारों का कहना है कि इस साल बिक्री में बढ़ोतरी हो रही है और लोग त्योहार को पूरे जोश और उत्साह से मना रहे हैं। कई महिलाएं डिजिटल माध्यम से भी पूजा किट्स और कपड़े खरीद रही हैं, लेकिन बाजार की रौनक अभी भी बरकरार है।
करवा चौथ का पर्व सिर्फ धार्मिक आस्था का प्रतीक नहीं है, बल्कि यह दांपत्य जीवन में प्रेम और विश्वास को मजबूत करने का एक महत्वपूर्ण अवसर भी है। इस दिन महिलाएं अपने पतियों की लंबी उम्र के लिए व्रत रखकर उनके प्रति अपने समर्पण को प्रकट करती हैं। 20 अक्टूबर की रात जब चंद्रमा दिखाई देगा, तब यह व्रत पूरे विधि-विधान से खोला जाएगा, और हर सुहागिन के लिए यह पल खास होगा। करवा चौथ का यह त्योहार प्रेम, आस्था और समर्पण का प्रतीक है, जो हर साल पति-पत्नी के रिश्ते को और गहरा करता है।

 

फैंसी चूडिय़ों से सजा बाजार
करवाचौथ के लिए चूड़ी बाजार में फैंसी चूडियों की दुकानें भर गई हैं! विभिन्न रंगों, डिज़ाइनों और स्टाइल की चूडियों से बाजार सजा हुआ है। दुकानदारों का कहना है कि धागे की वर्क वाली चूडिय़ों को बेहद पसंद किया जा रहा है। उसी के अनुरूप बाजार में चूडिय़ां मौजूद है। ऐसे में महिलाएं साड़ी के रंग से मेल की चूड़ी खरीद रही हैं। जडाऊ चूडिय़ों को भी पसंद किया जा रहा है। चूडिय़ों और कड़े को करवा चौथ के हिसाब से डिजाइन किया गया है।

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